यदि आपने सरसों की खेती की है और इसे न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) पर बेचना चाहते हैं, तो आपके लिए यह एक महत्वपूर्ण खबर है। सरकार ने सरसों की खरीदारी की तारीख में बदलाव कर दिया है, जिससे किसानों को अब पहले से ही अपनी उपज का लाभ मिल सकेगा।
सरसों की खेती किसानों के लिए फायदेमंद होती है, क्योंकि इस साल इसकी पैदावार अच्छी रहने की संभावना है। सरकार ने पहले ही घोषणा कर दी थी कि सरसों, मसूर, चना और मूंग की खरीद MSP पर की जाएगी।
सरकार द्वारा सरसों का न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) 5,950 रुपये प्रति क्विंटल तय किया गया है। किसानों को इस दर पर अपनी फसल बेचने का मौका मिलेगा, जिससे उन्हें अच्छी कीमत प्राप्त होगी और उनका लाभ भी बढ़ेगा।
हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने किसानों के लिए एक बड़ा फैसला लेते हुए MSP पर फसल खरीदने की तारीख बदल दी है।
पहले सरसों की खरीदारी की तारीख 28 मार्च 2025 तय की गई थी, लेकिन अब इसे 13 दिन पहले, यानी 15 मार्च 2025 से शुरू कर दिया जाएगा।
सरसों की फसल की बड़ी मात्रा में आवक को देखते हुए सरकार ने फैसला किया है कि किसानों को जल्दी भुगतान मिले और उन्हें मंडी में अधिक समय तक रुकना न पड़े।
पंजीकरण और सत्यापन की अनिवार्यता:
सरसों की खरीदारी एजेंसियां:
48 घंटे में होगा भुगतान:
सरकार द्वारा MSP पर सरसों की खरीदारी की तारीख 13 दिन पहले कर दी गई है, जिससे किसान जल्द ही अपनी उपज बेचकर लाभ प्राप्त कर सकते हैं। पंजीकरण अनिवार्य है और सरकार द्वारा सभी सुविधाओं की बेहतर व्यवस्था की गई है। इसके साथ ही, 48 घंटे के भीतर भुगतान की गारंटी किसानों को राहत देने वाली है। यह कदम किसानों के हित में एक महत्वपूर्ण फैसला साबित होगा, जिससे उन्हें उनकी मेहनत का पूरा लाभ मिल सकेगा।